Edited By Afjal Khan, Updated: 31 Jan, 2024 05:21 PM
सोलहवीं राजस्थान विधानसभा के गठन के पश्चात राष्ट्रमण्डल संसदीय संघ की राजस्थान शाखा की साधारण सभा की प्रथम बैठक मंगलवार को राजस्थान विधानसभा में आयोजित की गई। बैठक में राजस्थान विधानसभा और राष्ट्र मण्डल संसदीय संघ की राजस्थान शाखा के अध्यक्ष वासुदेव...
जयपुर, 31 जनवरी। सोलहवीं राजस्थान विधानसभा के गठन के पश्चात राष्ट्रमण्डल संसदीय संघ की राजस्थान शाखा की साधारण सभा की प्रथम बैठक मंगलवार को राजस्थान विधानसभा में आयोजित की गई। बैठक में राजस्थान विधानसभा और राष्ट्र मण्डल संसदीय संघ की राजस्थान शाखा के अध्यक्ष वासुदेव देवनानी ने शाखा के गठन, शाखा द्वारा किए गए कार्यक्रमों की जानकारी दी गई ।
कार्यकारिणी सदस्यों के मनोनयन हेतु अध्यक्ष वासुदेव देवनानी प्राधिकृत
इस दौरान देवनानी ने बताया कि राष्ट्रमण्डल संसदीय संघ की राजस्थान शाखा का गठन सर्वप्रथम 10 अगस्त, 1959 को किया गया । यह शाखा राष्ट्रमण्डल संसदीय संघ की जनरल कौंसिल से नवंबर, 1959 में सम्बद्ध (एफिलियेटेड) कर दी गई थी तथा भारत की केन्द्रीय शाखा द्वारा इस पर 25 अप्रैल, 1960 को अपनी सहमति प्रदान की गई थी । राष्ट्रमण्डल संसदीय संघ का मुख्यालय लंदन में है तथा भारतीय संसद, भारत के विधान मण्डलों की मुख्य शाखा है। भारतीय संसद राष्ट्रमण्डल संसदीय संघ के भारत क्षेत्र का मुख्यालय भी है। वहीं उन्होंने कहा कि राजस्थान शाखा के नियम 12 अगस्त, 1959 की बैठक में स्वीकार किए गए थे । उन्होंने संघ के प्रमुख प्रावधानों की जानकारी साधारण सभा में सदस्यों को देते हुए बताया कि शाखा में अध्यक्ष, उपाध्यक्ष, अवैतनिक सचिव, कोषाध्यक्ष शाखा का प्रबंध करते है । अध्यक्ष, राजस्थान विधानसभा इस शाखा के पदेन अध्यक्ष होंगे । जबकि सदन के नेता तथा विधान सभा में प्रतिपक्ष के नेता शाखा के पदेन उपाध्यक्ष होंगे । अवैतनिक सचिव तथा कोषाध्यक्ष कार्यकारिणी समिति द्वारा नियुक्त किए जाएंगे।
देवनानी ने बताया कि शाखा के कार्यकलापों के प्रबंध का अधिकार कार्यकारिणी समिति को होगा जिसके दस सदस्य होंगे । जो प्रति वर्ष साधारण सभा में शाखा के साधारण सदस्यों तथा पदाधिकारियों में से चुने जाएंगे । शाखा के पदधारी कार्यकारिणी समिति के भी पदधारी भी होंगे। वहीं नियमों के अनुसार विधानसभा का प्रत्येक सदस्य बिना किसी निर्वाचन के इस शाखा का साधारण सदस्य होता है। वहीं देवनानी ने बताया कि राजस्थान शाखा द्वारा राष्ट्रमण्डल संसदीय संघ के मुख्यालय को प्रति वर्ष सदस्यता शुल्क का भुगतान किया जाता है । वर्ष 2023 के सदस्यता शुल्क के रूप में राशि 5727 पाउण्ड स्टर्लिंग (करीब 5 लाख 82 हजार रु.) का भुगतान किया गया है । राजस्थान शाखा राष्ट्रमण्डल संसदीय संघ के भारत क्षेत्र की भी सदस्य है । इस शाखा द्वारा भारत क्षेत्र की वार्षिक सदस्यता शुल्क के रूप में संघ के मुख्यालय के वार्षिक शुल्क के रूप में 5 लाख लाख रुपए की राशि का भुगतान किया जाता है ।
साथ ही स्पीकर देवनानी ने बताया कि पन्द्रहवीं राजस्थान विधानसभा के कार्यकाल के दौरान राजस्थान शाखा द्वारा विभिन्न विषयों पर सेमिनार का आयोजन किया गया था । इन सेमिनार में भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, तत्कालीन सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश एन.वी. रमणा, उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़, लोकसभा के अध्यक्ष ओम बिरला, पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी, पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, केन्द्रीय मंत्री नीतिन गडकरी, जम्मू एवं कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री गुलाम नबी आजाद और अन्य जाने माने महानुभावों ने भाग लिया था। अगस्त, 2023 में सी.पी.ए. भारत क्षेत्र के 9वें क्षेत्रीय सम्मेलन का आयोजन उदयपुर में किया गया था। समाज के विभिन्न वर्गों को लोकतंत्र से जोड़ने के उद्देश्य से इन सेमिनार में सदस्यों एवं पूर्व सदस्यों के साथ-साथ उच्च न्यायालय के न्यायाधीशों, प्रोफेसर्स, अधिवक्तागण, विभिन्न बोर्डों एवं आयोगों के अध्यक्षों सहित अन्य वर्गों को भागीदारी का अवसर मिला।
देवनानी ने बताया कि राजनैतिक, सामाजिक, आर्थिक तथा शैक्षिक समस्याओं पर व्याख्यानों का प्रबन्ध करने के अतिरिक्त यह शाखा समय-समय पर आयोजित होने वाले राष्ट्रमण्डल संसदीय संघ के वार्षिक सम्मेलन, इण्डिया रीजन के क्षेत्रीय सम्मेलन, सेमिनार, अन्य सम्मेलनों व पार्लियामेंट्री ट्रेनिंग कोर्स में भाग लेने के लिए प्रतिनिधियों का चयन भी करती है। अब तक इस शाखा से अध्यक्ष एवं उपाध्यक्ष सहित कई माननीय सदस्यगण और विधानसभा सचिव ऐसे सम्मेलनों, संगोष्ठियों तथा प्रशिक्षण कार्यक्रमों में भाग ले चुके हैं । उन्होंने बताया कि सदस्यों ने नियम 14 का अवलोकन करते समय यह देखा होगा कि शाखा के कार्यकलापों के प्रबंध का अधिकार शाखा की कार्यकारिणी समिति को होता है, जिसमें दस सदस्य होते हैं और जो साधारण सभा की बैठक में शाखा के साधारण सदस्यों द्वारा निर्वाचित किए जाते हैं । अध्यक्ष, विधानसभा इस शाखा के पदेन अध्यक्ष होते हैं । सदन के नेता व प्रतिपक्ष के नेता इसके पदेन उपाध्यक्ष और कार्यकारिणी समिति के निर्णयानुसार प्रमुख सचिव, विधानसभा शाखा के अवैतनिक सचिव एवं कोषाध्यक्ष होते हैं।
स्पीकर देवनानी द्वारा रखे गए प्रस्ताव पर साधारणसभा की सहमति से अध्यक्ष को विभिन्न दलों के नेताओं से विचार-विमर्श कर राजस्थान शाखा की कार्यकारिणी समिति के लिए सदस्यों को मनोनीत करने हेतु प्राधिकृत किया गया । वहीं देवनानी ने बताया कि पूर्व में यह परम्परा रही है कि राष्ट्रमण्डल संसदीय संघ के सम्मेलनों एवं संगोष्ठियों में राजस्थान शाखा का प्रतिनिधित्व शाखा के अध्यक्ष द्वारा किया जाता रहा है । सी.पी.ए. राजस्थान शाखा का वर्तमान में सदस्यता शुल्क साधारण सदस्य 50.00 रु. प्रति वर्ष, सम्बद्ध सदस्य 50.00 रु. प्रति वर्ष और आजीवन सदस्यता शुल्क 1000.00 रु. है । उन्होंने सदस्यों से अनुरोध किया कि जिन सदस्यों ने अब तक भुगतान नहीं किया है, वे अपने सदस्यता शुल्क का भुगतान करें, अन्यथा शाखा के नियम 4 के अनुसार आपकी राष्ट्रमण्डल संसदीय संघ की सदस्यता समाप्त हो सकती है। राष्ट्रमण्डल संसदीय संघ द्वारा त्रैमासिक पत्रिका द पार्लियामेन्टेरियन’ का प्रकाशन किया जाता है। सदस्य इस पत्रिका सहित अन्य प्रकाशनों का सी.पी.ए. मुख्यालय की वैबसाइट www.cpahq.org पर डिजिटल स्वरूप में अवलोकन कर सकते है।
साथ ही देवनानी ने बताया कि सदस्यता शुल्क में गत कई वर्षों से बढ़ोतरी नहीं की गई है, जिसके कारण यह समय के साथ अप्रासंगिक हो गई है। बैठक में साधारण सदस्य का शुल्क 50 रुपए से बढ़ाकर 500 रु. प्रति वर्ष, सम्बद्ध सदस्य का शुल्क 50 रु. से बढ़ाकर 500 रु. प्रति वर्ष और आजीवन सदस्यता शुल्क 1000 रु. से बढ़ाकर 5000 रु. किए जाने के प्रस्ताव पर सभी सदस्यों द्वारा सहमति व्यक्त की गई ।