Edited By Raunak Pareek, Updated: 17 Jan, 2025 03:51 PM
केंद्र सरकार ने 8वें वेतन आयोग के गठन को मंजूरी दे दी है, जिससे सरकारी कर्मचारियों की तनख्वाह में 34% तक बढ़ोतरी होने की उम्मीद है। यह बढ़ोतरी जनवरी 2026 से लागू होगी। इसके साथ ही रिटायर्ड कर्मचारियों की पेंशन में भी भारी इजाफा होगा। राज्य सरकार के...
नया साल सरकारी कर्मचारियों के लिए एक बड़ी खुशखबरी लेकर आया है। केंद्र सरकार ने आठवें वेतन आयोग के गठन को मंजूरी दे दी है। यह आयोग जल्द ही अपनी सिफारिशें प्रस्तुत करेगा, और जनवरी 2026 से सरकारी कर्मचारियों के वेतन में महत्वपूर्ण बढ़ोतरी होने वाली है। जब छठे वेतन आयोग को लागू किया गया था, तो वेतन में 14 प्रतिशत की वृद्धि हुई थी, जबकि सातवें वेतन आयोग के लागू होने से 23.66 प्रतिशत वेतन में बढ़ोतरी हुई थी। अब, आठवें वेतन आयोग के लागू होने पर सरकारी कर्मचारियों के मासिक वेतन में 34 प्रतिशत से ज्यादा की वृद्धि निश्चित है। इसके साथ ही, सेवानिवृत्त कर्मचारियों की पेंशन भी इसी पैमाने पर बढ़ने वाली है। यह खबर वर्तमान और सेवानिवृत्त कर्मचारियों के लिए खुशी का कारण बनेगी।
केंद्रीय कर्मचारियों के साथ राज्य कर्मचारियों में भी खुशी की लहर
आठवें वेतन आयोग का लाभ पहले केंद्रीय कर्मचारियों को मिलेगा, जो अगले साल बड़ी सैलरी बढ़ोतरी का फायदा उठाएंगे। हालांकि, राज्य सरकार के कर्मचारियों में भी खुशी की लहर है, क्योंकि उनके लिए भी वेतन वृद्धि की संभावना बन गई है। जब केंद्रीय कर्मचारियों के लिए आठवां वेतन आयोग लागू होगा, तो राज्य सरकार भी अपने कर्मचारियों के लिए इसे लागू करने पर विचार करेगी। यह अनुमान लगाया जा रहा है कि 2028 के विधानसभा चुनाव से पहले राज्य कर्मचारियों को भी आठवें वेतन आयोग का लाभ मिलने की संभावना है।
प्राइवेट सेक्टर वालों के लिए भी सुखद खबर
यह सच है कि वेतन आयोग का लाभ मुख्य रूप से सरकारी कर्मचारियों और अधिकारियों को मिलेगा, लेकिन प्राइवेट सेक्टर में काम करने वाले कर्मचारियों के लिए भी यह एक सकारात्मक खबर है। कई प्राइवेट सेक्टर, जो सरकारी क्षेत्र से प्रतिस्पर्धा करते हैं, में वेतन वृद्धि की संभावना है। अनुमान है कि ऐसे क्षेत्रों में वेतन में 10 से 11 फीसदी तक वृद्धि हो सकती है। जब छठा और सातवां वेतन आयोग लागू हुआ था, तब भी प्राइवेट सेक्टर में 5 से 8 फीसदी तक वेतन बढ़ाया गया था।
कुछ इस तरह है वेतन बढ़ोतरी का गणित
आठवें वेतन आयोग की सिफारिशों के लागू होने से कर्मचारियों की सैलरी में 34 प्रतिशत से ज्यादा की बढ़ोतरी होने की संभावना है। यह बढ़ोतरी मुख्य रूप से कर्मचारी की बेसिक सैलरी में होगी। उदाहरण के तौर पर, अगर किसी कर्मचारी की बेसिक सैलरी 25,000 रुपए है, तो यह बढ़कर 33,500 रुपए हो जाएगी, यानी 8,500 रुपए का इजाफा। यह केवल बेसिक सैलरी की बढ़ोतरी है। महंगाई भत्ते सहित अन्य भत्तों में भी 35 से 40 प्रतिशत की बढ़ोतरी होगी, जिससे 25,000 रुपए की तनख्वाह वाले कर्मचारी की कुल सैलरी लगभग 40,000 रुपए तक पहुंच जाएगी। इसी तरह, सेवानिवृत्त कर्मचारियों की पेंशन में भी भारी वृद्धि होगी।
जब एक साल बाद राजस्थान में लागू हुआ था सातवां वेतन आयोग
सातवें वेतन आयोग का गठन 28 फरवरी 2014 को किया गया था, और इसे तत्कालीन प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह द्वारा मंजूरी दी गई थी। नवंबर 2015 में आयोग ने वेतन भत्तों में वृद्धि की सिफारिशें केंद्र सरकार को भेजी थीं, और यह जनवरी 2016 से लागू होना था। हालांकि कुछ कारणों से यह तय तिथि से लागू नहीं हो सका। केंद्र सरकार द्वारा सातवां वेतन लागू करने के एक साल बाद, राजस्थान सरकार ने भी अपने राज्य कर्मचारियों के लिए सातवें वेतन आयोग को लागू कर दिया था।