अनिता चौधरी हत्याकांड : मामले में दिग्गज जाट नेताओं ने क्यों बनाई दूरी ?

Edited By Chandra Prakash, Updated: 05 Nov, 2024 05:21 PM

anita chaudhary murder case

अनिता चौधरी हत्याकांड में गुत्थी उलझती ही जा रही है । दरअसल, 30 अक्टूबर की शाम अनिता का शव गंगाना क्षेत्र में जमीन के 10 फिट अंदर मिला । जब शव निकाला गया तो वह 6 टुकड़ों में बंटा हुआ था । पुलिस ने इस पूरे मामले में अनिता के धर्म भाई गुलामुद्दीन को...

  • अनिता चौधरी हत्याकांड में इन जाट नेताओं ने बनाई मामले में दूरी 
  • दिव्या मदेरणा, संगीता बेनीवाल, हरीश चौधरी, गोविंद सिंह डोटासरा और
  • उम्मेदाराम बेनीवाल, सतीश पूनिया, कैलाश चौधरी इस मामले में नदारद
  • सिर्फ हनुमान बेनीवाल ने सोशल मीडिया के जरिए लगाई न्याय की गुहार

 

जोधपुर, 5 नवंबर 2024 । अनिता चौधरी हत्याकांड में गुत्थी उलझती ही जा रही है । दरअसल, 30 अक्टूबर की शाम अनिता का शव गंगाना क्षेत्र में जमीन के 10 फिट अंदर मिला । जब शव निकाला गया तो वह 6 टुकड़ों में बंटा हुआ था । पुलिस ने इस पूरे मामले में अनिता के धर्म भाई गुलामुद्दीन को मुख्य आरोपी माना है । हालांकि गुलामुद्दीन पुलिस के गिरफ्त से दूर है, लेकिन पुलिस ने गुलाम की पत्नी आबिदा को गिरफ्तार किया है। गुलामुद्दीन की गिरफ्त से दूर होना, आबिदा का मीडिया के सामने बयान और परिवार के साथ समाज और सर्व हिंदू समाज का धरना पुलिस के लिए मुश्किलें बढ़ा रहा है । पुलिस ने हत्या का कारण लूट बताया है, लेकिन परिवार इससे संतुष्ट नहीं है । 

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हत्यारे को जल्द से जल्द पकड़ने की मांग के साथ उचित मुआवजे और सीबीआई जांच की मांग को लेकर आज तीसरे दिन भी परिवार अनिता के पति और बेटे सहित  समाज के लोग धरने पर बैठे हैं । पिछले दो दिन से जाट समाज के लोग वीर तेजा हॉस्टल में धरने पर बैठे थे, लेकिन आज उन्होंने जोधपुर के सरदारपुरा जहां पर अनिता चौधरी का ब्यूटी पार्लर था उस मार्केट को बंद करने का आह्वान किया था, जिसका असर भी देखने को मिला, सरदारपुरा व्यापारी संघ ने इस बंद का समर्थन किया । लेकिन धरना प्रदर्शन पर लोगों का संख्या बल कम दिखाई दिया धरने की सूचना पहले से दे दी गई थी और ज्यादा से ज्यादा लोग अनिता चौधरी को न्याय दिलाने के समर्थन में धरना प्रदर्शन पहुंचने के लिए संदेश भी भेजे गए थे, लेकिन इक्का-दुक्का लोग ही धरना प्रदर्शन पर दिखाई दिए धरने की शुरुआत में कोई बड़ा चेहरा इसमें शामिल नहीं हुआ । खासकर मारवाड़ के दिग्गज जाट नेता इस पूरे मामले से दूरी बनाते हुए दिखाई दे रहे हैं, इनमें सबसे पहले बात करें तो कांग्रेस की ओसियां विधानसभा से पूर्व विधायक और कांग्रेस की राष्ट्रीय सचिव दिव्या मदेरणा। 

उन्होंने न सिर्फ इस मामले में कोई आवाज उठाई ना ही धरना प्रदर्शन में शामिल हुई है । कांग्रेस की ही जाट नेता संगीता बेनीवाल की बात करें, जिन्होंने हाल ही में पाली लोकसभा सीट से कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ा था वह जोधपुर ही निवास करती है, लेकिन इस पूरे मामले में दूरी बनाती हुई दिखाई दी । हत्या की पुष्टि होने के बाद से आज तक ना ही उन्होंने परिवार से संपर्क किया और ना ही किसी तरह का सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर उनका कोई संदेश अनिता चौधरी के समर्थन में सामने आया है । 

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वहीं कांग्रेस के बाड़मेर जैसलमेर लोकसभा सीट से सांसद उमेद राम बेनीवाल भी इस पूरे मामले में चुप्पी साधे हुए हैं, उन्होंने अभी इस पूरे मामले में कोई आवाज नहीं उठाई है । भाजपा से दिग्गज नेता पूर्व केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी, बाड़मेर जैसलमेर लोकसभा सीट से पूर्व सांसद ने भी इस पूरे मामले में संज्ञान नहीं लिया, ना ही सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर उनके द्वारा कोई संदेश साझा किया गया है । इसके बाद कर बात करें हरीश चौधरी, सतीश पूनिया, गोविंद सिंह डोटासरा जैसे दिग्गज नेताओं की, जिन्होंने भी इस पूरे मामले से दूरी बना रखी है । 

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के सुप्रीमो हनुमान बेनीवाल ने जरूर इस मामले में अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म से संदेश साझा करते हुए अनिता चौधरी को जल्द से जल्द न्याय दिलाने की बात कही है, लेकिन वह भी धरना स्थल तक नहीं पहुंच पाए हैं, इसका कारण बताया जा रहा है खींवसर में होने वाले विधानसभा उप चुनाव। आपको बता दें कि 13 नवंबर को राजस्थान में 7 सीटों पर उप चुनाव होने हैं, जिसमें खींवसर विधानसभा भी है । इस सीट पर हनुमान बेनीवाल की पत्नी कनिका बेनीवाल आरएलपी की टिकट पर चुनाव लड़ रही है । ऐसे में उपचुनाव में व्यस्त होने के कारण हनुमान बेनीवाल जोधपुर नहीं पहुंचे हैं, लेकिन उनके कार्यकर्ता जरूर धरने में शामिल हुए हैं । उन्होंने प्रशासन और पुलिस के आलाधिकारियों से वार्ता भी की है। 

धरना स्थल पर संख्या बल कम होने के बाद परिवार और धरना प्रदर्शन पर बैठे लोगों में निराशा देखी गई । यहां तक की संपत पूनिया ने माइक पर बोलते हुए कहा कि अगर कल 1:00 बजे तक अनिता चौधरी को न्याय दिलाने के समर्थन में लोग एकत्र नहीं होते हैं तो परिवार पोस्टमार्टम के लिए हामी भर देगा । इसके साथ ही उन्होंने राजनीतिक दबाव की भी बात की । कहा कि कई बड़े नाम इसमें जुड़े हो सकते हैं, ऐसे में राजनीतिक दबाव के चलते इस पूरे मामले को भ्रमित किया जा रहा है।

दूसरी तरफ पुलिस अभी भी गुलामुद्दीन की तलाश कर रही है । डीसीपी राजर्षी ने बताया कि हमारे पास स्ट्रांग इनपुट है कि गुलामुद्दीन किस दिशा में गया है । हम जल्द से जल्द इसे गिरफ्तार कर लेंगे और इस पूरे मामले का खुलासा करेंगे। लेकिन पुलिस द्वारा हत्या का कारण लूट बताने के बाद अब इस पूरे मामले की गुत्थी उलझती ही जा रही है । कई ऐसे अनसुलझे सवाल है जिसके जवाब अभी भी बाकी है । 

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हालांकि हत्या के दिन का एक सीसीटीवी फुटेज भी सामने आया है, जिसमें हत्या के दिन अनिता चौधरी जब अपने ब्यूटी पार्लर को ताला लगाकर निकलती हुई दिखाई दे रही है । सीसीटीवी में साफ नजर आ रहा है कि अनिता सलवार कमीज पहने हुए हैं उसके हाथ में एक काला रंग का बैग है । वह सड़क की दूसरी ओर जाती है और सामने से आ रही ऑटो रिक्शा को रुकाती है, उससे कुछ देर बात करने के बाद में वह ऑटो रिक्शा में बैठकर वहां से निकल जाती है । 

अभी तक के बयान और अनिता के सीसीटीवी फुटेज सामने आने के बाद से ही अनिता हत्याकांड की गुत्थी उलझती जा रही है । अभी तक पुलिस ने लूट के इरादे से हत्या का कारण बताया है, लेकिन परिवार पहले इससे इनकार कर चुका है, ना ही परिवार द्वारा कोरी और लूट की रिपोर्ट दी गई। अब आबिदा का अपने बयान में यह कहना कि गुलामुद्दीन ने कहा कि वह किसी आदमी को लेकर आएगा ऐसे में क्या इस पूरी घटनाक्रम में तीसरे व्यक्ति की भूमिका है ? 

अब अनिता चौधरी सीसीटीवी फुटेज सामने आने के बाद पता चलता है कि अनीता जिन कपड़ों में पार्लर से निकली थी, हत्या के समय उसके शरीर पर वह कपड़े नहीं थे । पुलिस को अभी तक जो कपड़े अनिता पहन कर गई थी वे बरामद नहीं हुए है । ऐसे में कई तरह के सवाल उठ रहे हैं । अनिता के हाथ में एक काला बैग सीसीटीवी फुटेज में दिखाई दे रहा है इसमें कई राज हो सकते है यह भी पुलिस की गिरफ्त से दूर है । 

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पुलिस को इस पूरे मामले में मुख्य आरोपी गुलामुद्दीन की स्कूटी बरामद हुई है । जिसकी डिक्की में गुलामुद्दीन का मोबाइल बरामद हुआ है, लेकिन उसमें सिम नहीं है । इसके साथ ही अनिता का मोबाइल अभी तक नहीं मिल पाया है । ऐसे में अनिता से मोबाइल से मिलने वाले महत्वपूर्ण साक्ष्य अभी भी पुलिस की पहुंच से दूर है।

पुलिस इस पूरे मामले को लेकर कड़ी से कड़ी जोड़कर तह तक जाने का प्रयास कर रही है । पुलिस के हाथ अभी भी खाली है, क्योंकि मुख्य आरोपी गुलामुद्दीन अभी भी पुलिस की पकड़ से दूर है। वहीं कुछ दिन पहले एक ऑडियो वायरल हुआ था उस ऑडियो में तैयब अंसारी का नाम सुनीता की ओर से लिया गया था। उसके बाद पुलिस ने पिछले 48 घंटे तक तैयब अंसारी से सरदारपुरा थाने में पूछताछ की गई । सुनिता के सामने बैठाकर पूछताछ की गई । अब पूछताछ के बाद 48 घंटे बाद पुलिस तैयब अंसारी को लेकर उनके निवास प्रताप नगर पहुंची है । प्रताप नगर में तैयब अंसारी के साथ पुलिस की तीन टीमें हैं । तैयब अंसारी के घर पहुंची और इस पूरे मकान का सर्च किया। पुलिस 4 घंटे सर्च करने के पश्चात पुलिस को कोई खास तथ्य तो हाथ नहीं लगे । लेकिन पुलिस जाते वक्त तैयब अंसारी के मकान से लैपटॉप कंप्यूटर और प्रिंटर के साथ कुछ जरूरी कागजात लेकर गई है । ऐसा अंदेशा जताया जा रहा है कि तैयब अंसारी का लैपटॉप, कंप्यूटर और प्रिंटर से ऐसे कुछ तथ्य सामने आ सकते हैं जो इस मामले को लेकर जांच आगे बढ़ने की संभावना जताई जारी है ।  
 

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