फेरबदल वाला रहेगा मई का महीना, 6 ग्रहों में होगा बदलाव

Edited By Chandra Prakash, Updated: 27 Apr, 2025 03:35 PM

the month of may will be full of changes 6 planets will change

ज्योतिष की दृष्टि से वर्ष 2025 काफी महत्वपूर्ण रहने वाला है। अब अगस्त का महीना ज्योतिष और ग्रहों की दृष्टि से बहुत ही खास रहने वाला है। इसी कड़ी में मई माह में 5 ग्रह अपनी राशि बदलेंगे। वैदिक ज्योति शास्त्र के अनुसार सभी ग्रह एक निश्चित अंतराल पर...

मई माह में बदलेगी 6 ग्रहों की चाल
मई में 6 बड़े ग्रहों का होगा राशि परिवर्तन

 

जयपुर/जोधपुर,27 अप्रैल 2025 । ज्योतिष की दृष्टि से वर्ष 2025 काफी महत्वपूर्ण रहने वाला है। अब अगस्त का महीना ज्योतिष और ग्रहों की दृष्टि से बहुत ही खास रहने वाला है।  इसी कड़ी में मई  माह में 5 ग्रह अपनी राशि बदलेंगे। वैदिक ज्योति शास्त्र के अनुसार सभी ग्रह एक निश्चित अंतराल पर अपनी राशि बदलते हैं जिसके कारण हर एक माह में कोई न कोई ग्रह अपना राशि परिवर्तन करते हैं जिसे ज्योतिष मंग ग्रहों का गोचर कहते हैं। । पाल बालाजी ज्योतिष संस्थान जयपुर - जोधपुर  के निदेशक ज्योतिषाचार्य अनीष व्यास ने बताया कि मई 2025 का महीना खगोलीय दृष्टिकोण से बेहद महत्वपूर्ण और दिलचस्प रहने वाला है। इस महीने में कुल 6 ग्रह अपनी राशियों में परिवर्तन करने जा रहे हैं, जो ज्योतिष शास्त्र में एक बड़ी घटना मानी जाती है। मई माह में 6 ग्रह राशि परिवर्तन करेंगे। बुध सूर्य शुक्र गुरु राहु केतु राशि परिवर्तन करेंगे लेकिन बुध दो बार राशि परिवर्तन करेगा। जब ग्रह अपनी राशियों में प्रवेश करते हैं, तो उनका असर हमारे जीवन के विभिन्न पहलुओं, जैसे कि करियर, पारिवारिक जीवन, स्वास्थ्य, और वित्तीय मामलों पर पड़ता है।

ज्योतिषाचार्य अनीष व्यास ने बताया कि मई 2025 में होने वाले इन गोचर परिवर्तनों का प्रभाव सभी राशियों पर अलग-अलग होगा और यह समय विभिन्न क्षेत्रों में बदलाव, अवसर और चुनौतियां लेकर आ सकता है। कुछ ग्रहों का गोचर शिक्षा, विवाह, धार्मिक कार्यों, और आध्यात्मिकता से संबंधित विषयों पर प्रभाव डाल सकता है, वहीं कुछ का असर संचार, व्यापार और व्यक्तिगत संबंधों पर हो सकता है। इस महीने के ग्रहों के गोचर का प्रभाव जानना आपके लिए महत्वपूर्ण हो सकता है ताकि आप अपनी योजनाओं को बेहतर तरीके से बना सकें और इस समय का अधिकतम लाभ उठा सकें। 

ज्योतिषाचार्य अनीष व्यास ने बताया कि ज्योतिष शास्त्र के अनुसार ग्रहों की चाल का असर व्यक्ति के जीवन पर पड़ता है। ज्योतिष के नजरिए से भी ये माह बेहद महत्वपूर्ण रहने वाला है। इस माह में 6 ग्रह राशि परिवर्तन करेंगे। वैदिक ज्योतिष के सिद्धांत के अनुसार मनुष्य के जीवन में जो भी घटनाएं घटित होती हैं। उनका कारण ग्रहीय दशा, गोचर, उनकी चाल है। सौरमंडल में बैठे ग्रह ही यह निर्धारित करते हैं कि आने वाला समय कैसा होगा और मनुष्य जीवन पर इसका क्या प्रभाव पड़ेगा। 

मेष राशि में बुध का गोचर 
भविष्यवक्ता और कुण्डली विश्ल़ेषक डा. अनीष व्यास ने बताया कि बुध ग्रह 7 मई 2025 को प्रातः 4:13 बजे मेष राशि में प्रवेश करेंगे। बुध का यह गोचर आपकी सोच और संवाद शैली को प्रभावित करेगा। मेष राशि में बुध का प्रवेश शिक्षा, संवाद, और व्यापारिक गतिविधियों में तेजी लेकर आएगा। यदि आप व्यापार या नौकरी के लिए कुछ नया सोच रहे हैं, तो यह समय लाभकारी हो सकता है। मानसिक चंचलता में वृद्धि हो सकती है, लेकिन यदि आप अपने विचारों को स्पष्ट रूप से व्यक्त करेंगे, तो आपको अच्छे परिणाम मिलेंगे।

मिथुन राशि में गुरु का गोचर 
भविष्यवक्ता और कुण्डली विश्ल़ेषक डा. अनीष व्यास ने बताया कि गुरु ग्रह 14 मई 2025 को रात्रि 11:20 बजे मिथुन राशि में प्रवेश करेंगे। यह गोचर शिक्षा, विवाह, और धार्मिक कार्यों पर प्रभाव डालने वाला होगा। बृहस्पति का यह गोचर आपके जीवन में एक नई दिशा ला सकता है, विशेषकर उन व्यक्तियों के लिए जो उच्च शिक्षा प्राप्त करना चाहते हैं या धार्मिक कार्यों में रुचि रखते हैं। विवाह और भाग्य के मामलों में सकारात्मक बदलाव देखने को मिल सकता है।

वृषभ राशि में सूर्य का गोचर 
भविष्यवक्ता और कुण्डली विश्ल़ेषक डा. अनीष व्यास ने बताया कि 15 मई 2025 को सूर्य रात्रि 12:20 बजे वृषभ राशि में प्रवेश करेंगे। सूर्य के इस गोचर का असर आपके आत्मविश्वास, ऊर्जा और नेतृत्व क्षमता पर पड़ेगा। वृषभ राशि में सूर्य के गोचर के दौरान आपको अपने करियर और जीवन में आगे बढ़ने के अवसर मिल सकते हैं। यह समय आपके आत्म-संप्रभुता को स्थापित करने और अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए उपयुक्त रहेगा।

राहु और केतु का गोचर 
भविष्यवक्ता डा. अनीष व्यास ने बताया कि 18 मई 2025 को राहु और केतु दोनों ग्रह अपनी राशियां बदलेंगे। राहु प्रातः 4:30 बजे कुंभ राशि में प्रवेश करेंगे, और केतु भी ठीक उसी समय सिंह राशि में प्रवेश करेंगे। इन दोनों ग्रहों के गोचर का प्रभाव आध्यात्मिकता, भ्रम और अनिश्चितता पर पड़ेगा। कुंभ राशि में राहु के गोचर से मानसिक स्पष्टता में वृद्धि हो सकती है, जबकि सिंह राशि में केतु का प्रवेश व्यक्तिगत रिश्तों में कुछ बदलाव ला सकता है।

वृषभ राशि में बुध का गोचर 
कुण्डली विश्ल़ेषक डा. अनीष व्यास ने बताया कि 23 मई 2025 को बुध एक बार फिर अपनी राशि बदलेंगे। बुध दोपहर 1:05 बजे वृषभ राशि में प्रवेश करेंगे। यह बुध का दूसरी बार गोचर होगा, और यह समय संवाद और सोच के तरीके में बदलाव ला सकता है। वृषभ राशि में बुध का प्रवेश वित्तीय मामलों में सावधानी बरतने की सलाह देता है। आप अपने बजट और खर्चों को नियंत्रित कर सकते हैं और फिजूलखर्ची से बच सकते हैं।

मेष राशि में शुक्र का गोचर 
भविष्यवक्ता और कुण्डली विश्ल़ेषक डा. अनीष व्यास ने बताया कि 31 मई 2025 को शुक्र प्रातः 11:42 बजे मेष राशि में प्रवेश करेंगे। शुक्र का यह गोचर प्रेम, कला, सौंदर्य और विलासिता से जुड़े क्षेत्रों में बदलाव लाएगा। मेष राशि में शुक्र का गोचर आपके व्यक्तिगत संबंधों और रचनात्मक कार्यों को प्रभावित करेगा। यह समय प्रेम और रोमांस के मामलों में उत्साह और नई संभावनाओं का समय हो सकता है।

12 राशियों पर फायदा या नुकसान
शुभ प्रभाव -  मिथुन, वृश्चिक, मकर और मीन
अशुभ प्रभाव - वृष, सिंह, तुला और कुंभ
मिलाजुला प्रभाव - मेष कर्क, कन्या और धनु 

ग्रहों के गोचर का प्रभाव
भविष्यवक्ता डा. अनीष व्यास ने बताया कि व्यापार में तेजी आएगी। देश में कई जगह ज्यादा बारिश होगी। प्राकृतिक घटनाएं होगी। भूकंप आने की संभावना है। तूफान, बाढ़, भूस्खलन, पहाड़ टूटने, सड़के और पुल भी टूटने की घटनाएं हो सकती हैं। बस और रेलवे यातायात से जुड़ी बड़ी दुर्घटना होने की भी आशंका है। बीमारियों का संक्रमण बढ़ सकता है। शासन-प्रशासन और राजनैतिक दलों में तेज संघर्ष होंगे। सामुद्रिक तूफान और जहाज-यान दुर्घटनाएं भी हो सकती हैं। खदानों में दुर्घटना और भूकंपन से जन-धन हानि होने की आशंका बन रही है। रोजगार के अवसर बढ़ेंगे। आय में इजाफा होगा। राजनीति में बड़े स्तर पर परिवर्तन देखने को मिलेगा। देश में आंदोलन, हिंसा, धरना प्रदर्शन हड़ताल, बैंक घोटाला, वायुयान दुर्घटना, विमान में खराबी, उपद्रव और आगजनी की स्थितियां बन सकती है।

क्या करें उपाय
भविष्यवक्ता और कुण्डली विश्ल़ेषक डा. अनीष व्यास ने बताया कि हं हनुमते नमः, ऊॅ नमः शिवाय, हं पवननंदनाय स्वाहा का जाप करें। प्रतिदिन सुबह और शाम हनुमान जी के समक्ष सरसों के तेल का दीपक जलाएं। लाल मसूर की दाल शाम 7:00 बजे के बाद हनुमान मंदिर में चढ़ाएं। हनुमान जी को पान का भोग और दो बूंदी के लड्डू का भोग लगाएं। ईश्वर की आराधना संपूर्ण दोषों को नष्ट एवं दूर करती है। महामृत्युंजय मंत्र और दुर्गा सप्तशती पाठ करना चाहिए। माता दुर्गा, भगवान शिव और हनुमानजी की आराधना करनी चाहिए।

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