Edited By Liza Chandel, Updated: 19 Nov, 2024 02:17 PM
सोमवार को जयपुर में मीणा समाज के विभिन्न संगठनों ने नरेश मीणा की रिहाई और समरावता गांव में पुलिस की बर्बर कार्रवाई के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया। समाज ने पुलिस पर गांव वालों को निशाना बनाने, उनके वाहनों में आग लगाने और मकानों को नुकसान पहुंचाने का...
नरेश मीणा की रिहाई और समरावता गांव में पुलिस कार्रवाई पर मीणा समाज का विरोध प्रदर्शन
सोमवार को जयपुर में मीणा समाज के विभिन्न संगठनों ने नरेश मीणा की रिहाई और समरावता गांव में पुलिस की बर्बर कार्रवाई के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया। समाज ने पुलिस पर गांव वालों को निशाना बनाने, उनके वाहनों में आग लगाने और मकानों को नुकसान पहुंचाने का आरोप लगाया।
पूर्व मंत्री खाचरियावास का बयान: सरकार अपनी जिम्मेदारी से बच नहीं सकती
पूर्व मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने भाजपा सरकार पर हमला बोलते हुए कहा,
"थप्पड़ कांड के बाद समरावता गांव में पुलिस द्वारा किए गए हमले से ग्रामीणों को भारी नुकसान हुआ है। सरकार उनकी मांगों को अनसुना कर रही है, जबकि उनके ही मंत्री डॉ. किरोड़ी लाल मीणा स्वीकार कर चुके हैं कि पुलिस ने गांव वालों को टारगेट किया और उनकी संपत्ति को नुकसान पहुंचाया।"
उन्होंने जोर देकर कहा कि जब एक कैबिनेट मंत्री खुद पुलिस की जिम्मेदारी स्वीकार कर रहा है, तो सरकार सामूहिक रूप से दोषी है और अब पीछे नहीं हट सकती।
मांगें और सुझाव
खाचरियावास ने कहा कि सरकार को:
- गांव वालों के नुकसान का मुआवजा तुरंत देना चाहिए।
- पूरी घटना की न्यायिक जांच शुरू करनी चाहिए।
- मुख्यमंत्री को सामने आकर स्पष्ट करना चाहिए कि ग्रामीणों को न्याय कब तक मिलेगा।
कांग्रेस की चेतावनी: सड़कों पर उतरेगी पार्टी
उन्होंने भाजपा सरकार को चेतावनी देते हुए कहा,"अगर सरकार ने ग्रामीणों के नुकसान का मुआवजा नहीं दिया और न्यायिक जांच की घोषणा नहीं की, तो कांग्रेस पार्टी सड़कों पर उतरेगी। गांव में लोगों को निशाना बनाकर किए गए हमले का हम कड़ा विरोध करेंगे।"
न्यायिक जांच की अनिवार्यता
खाचरियावास ने घटना को गंभीर बताते हुए कहा कि न्यायिक जांच से ही सच सामने आएगा और जिम्मेदारों को सजा मिल सकेगी। उन्होंने इसे ग्रामीणों के साथ न्याय करने का एकमात्र तरीका बताया।
राजनीतिक पारा चढ़ा
समरावता गांव की घटना और नरेश मीणा की रिहाई के मुद्दे ने राजनीतिक माहौल को गर्मा दिया है। अब सभी की नजरें सरकार की प्रतिक्रिया और कांग्रेस के संभावित विरोध प्रदर्शन पर टिकी हैं।